आगरा। मानसिक रूप से स्वस्थ और खुशहाल रहने के लिए धन से अधिक विटामिन एफ (फ्रेंड्स) को महत्व देना चाहिए। यह बात जेरिएट्रिक सोसाइटी ऒफ इंडिया की कार्यशाला में एजिंग ग्रेसफुली विषय पर बोलते हुए वरिष्ठ चिकित्सक डॉ. वीएन कौशल ने कही। उन्होंने कहा कि दुनिया भर में बुजुर्गों की संख्या तेजी से बढ़ रही है और इसके साथ उनसे जुड़ी समस्याएं व बीमारियां भी बढ़ रही हैं। ऐसे में बढ़ती उम्र में स्वस्थ और सक्रिय बने रहने के लिए जीवनशैली में सकारात्मक बदलाव बेहद जरूरी हैं।
बुढ़ापा दूर भगाने को आधा घंटे टहलें, मस्तिष्क व ह्रदय स्वस्थ रखें
डॉ. कौशल ने वृद्धावस्था को स्वस्थ, संतुलित और प्रसन्न बनाए रखने के लिए कुछ अहम सुझाव दिए। उन्होंने कहा कि मस्तिष्क और हृदय को स्वस्थ रखें।
रोज़ाना कम से कम आधा घंटा टहलना जरूरी है, इससे दिमाग और दिल दोनों मजबूत रहते हैं। नियमित दिनचर्या अपनाएं। सोने और भोजन का समय निश्चित रखें। उन्होंने कहा कि क्या खाते हैं से ज्यादा महत्वपूर्ण यह है कि किस समय खाते हैं।
भोजन में वजन के अनुसार प्रोटीन का संतुलन रखें
डॊ. कौशल ने कहा कि अपने वजन के अनुसार भोजन में प्रोटीन का अनुपात 1 से 1.2 तक रखें, जिससे मांसपेशियां और ऊर्जा बनी रहे। उन्होंने कहा कि मोटे अनाज और सलाद को प्राथमिकता दें। गेहूं के बजाय मोटे अनाज अपनाएं। डायबिटीज, कोलेस्ट्रॉल और बीपी को नियंत्रित रखने के लिए भोजन से पहले सलाद लें तथा मौसमी फल व सब्जियां खाएं। इसके साथ ही हर एक-दो माह में कहीं घूमने अवश्य जाएं। जीवन को सुखी और सफल बनाने के लिए अनुशासन में रहना सबसे बड़ी कुंजी है।
दोस्ती से मिलेगी मानसिक ऊर्जा
डॉ. कौशल ने कहा कि दोस्तों के साथ समय बिताने, बातचीत करने और सामाजिक जुड़ाव बनाए रखने से अकेलापन दूर होता है और मानसिक ऊर्जा बनी रहती है। यही असली विटामिन एफ है, जो उम्र बढ़ने के साथ भी इंसान को भीतर से जवान रखता है।

