आगरा। त्रिपुरा क्राइम ब्रांच ने कोडिन सीरप तस्करी से जुड़े एक महत्वपूर्ण मामले में आगरा निवासी देवेंद्र आहूजा उर्फ़ चिंटू को औपचारिक नोटिस जारी किया है। आरोपी को 5 दिसंबर को अगरतल्ला स्थित क्राइम ब्रांच कार्यालय में उपस्थित होने का आदेश दिया गया है।सूत्रों के अनुसार 7 जुलाई को दर्ज हुए इस केस में कई अहम सबूत मिलने के बाद जांच अब निर्णायक मोड़ पर पहुंच चुकी है।
देवेंद्र आहूजा का नाम इससे पहले भी बड़े स्तर के कोडिन सीरप तस्करी नेटवर्क में सामने आ चुका है। नवंबर 2022 में मालदा पुलिस ने आगरा से उसे गिरफ्तार किया था, जब बंगाल से यूपी तक फैले रैकेट का पर्दाफाश हुआ था। वह लंबे समय से विभिन्न राज्यों में सक्रिय तस्करी चेन से जुड़ा माना जाता है।
राजनीतिक गलियारों में भी रही चर्चा
चिंटू का नाम केवल अपराध जगत में ही नहीं, बल्कि राजनीतिक हलकों में भी सुर्खियों में रहा। सपा सांसद अफजाल अंसारी के साथ उसकी एक फोटो सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद उसके नेटवर्क और प्रभाव पर गंभीर सवाल उठे थे। हालांकि फोटो के आधार पर संबंध सिद्ध नहीं हो सके, लेकिन चर्चा का दौर लंबे समय तक जारी रहा।
बर्खास्त सिपाही आलोक से भी तार
पुलिस के उच्चस्तरीय सूत्रों ने संकेत दिए हैं कि चिंटू के तार बर्खास्त एसटीएफ सिपाही आलोक से भी जुड़े हुए थे। कहा जा रहा है कि दोनों के बीच पुराने समय में गतिविधियों का लिंक सामने आया था, जिसे अब जांच एजेंसियां दोबारा खंगाल रही हैं।
वाराणसी कांड में भी हो सकता है खुलासा
जांच अधिकारियों का मानना है कि अगर पूछताछ में नए तथ्य सामने आते हैं, तो चिंटू का नाम वाराणसी कोडिन सीरप कांड में भी जुड़ सकता है। त्रिपुरा क्राइम ब्रांच उसकी गतिविधियों, नेटवर्क, वित्तीय लेनदेन और पुराने मामलों के सभी रिकॉर्ड जुटाने में लगी है।
जांच में बड़े खुलासों की तैयारी
कोडिन सीरप से जुड़ा यह मल्टी-स्टेट रैकेट अब बड़े स्तर की जांच की पकड़ में है। त्रिपुरा क्राइम ब्रांच की पूछताछ से उत्तर प्रदेश, बंगाल और उत्तर-पूर्व राज्यों में सक्रिय पूरे नेटवर्क के कई परतें खुलने की उम्मीद है।





