फतेहाबाद/आगरा। पिछले 1 सप्ताह से रुक-रुक कर हो रही बारिश और यमुना में आई बाढ़ में जहां यमुना किनारे किसानों के खेतों में खड़ी हजारों बीघा बाजरे की फसल को पूरी तरह नष्ट कर दिया है वही यमुना किनारे किसानों के खेतों में खड़ी हरी सब्जी की फसल पूरी तरह नष्ट हो गई है।
पिछले एक सप्ताह से रुक रुक कर हो रही बारिश से खेतों में पानी भर जाने से सब्जी की फसल को भारी नुकसान हुआ है जिससे हरी सब्जी के दामों में तेजी आने लगी है बरसात के मौसम मैं हरी सब्जी की पैदावार अधिक होने बरसात के मौसम में हरि सब्जी सस्ती हो जाती थी लेकिन इस बार यमुना में आई बाढ़ कहर और रुक-रुक कर हो रही भारी बारिश के कारण बरसात और बाढ़ के पानी में डूब कर हजारों बीघा बाजरे की फसल तो पूरी तरह नष्ट होने के साथ-साथ हरी सब्जी की फसल भी पूरी तरह नष्ट हो गई इससे क्षेत्र के किस के समझ तोहरा संकट पैदा हो गया है।
हरी सब्जी के दाम बढ़ने लगे हैं इससे मेहनत मजदूरी कर दो वक्त की रोटी कमाने वाले गरीब मजदूरों के सामने अपनी गरीब रसोई में हरी सब्जी पकाने का संकट पैदा हो गया है अगर यमुना में आई बाढ़ का जल स्थर इसी प्रकार तीन-चार दिन और बढ़ता गया और बरसात इसी प्रकार जारी रही तो किसानों के खेतों में खड़ी बाजार की फसल के साथ-साथ हरी सब्जी की फसल भी पूरी तरह नष्ट हो जाएगी।
हरी सब्जी विक्रेता होती लाल कुशवाहा ने बताया कि रोजाना रुक-रुक कर हो रही बारिश और यमुना में आई बाढ़ के पानी में डूब कर हरी सब्जी की फसल नष्ट होने से मंडी सब्जी में हरी सब्जी बहुत कम आ रही है इससे हरी सब्जी के दाम बढ़ने लगे हैं।
अगर हरी सब्जियों के दामों पर एक नजर उठा कर देखा जाए तो इस समय हरी सब्जी में जाएका लाने वाला हरा धनिया 150 रुपए किलो बिक रहा है वही नींबू 60 बरसात के मौसम में जंगलों में होने वाला ककोरा 100 से 120 रुपए लहसुन 150 रुपए किलो करेला 30 रुपया टमाटर 60 रुपए तोरई 60 रुपए हरी मिर्च 80 से 100 रुपए मूली 30 रुपया भिंडी 20 रुपए बैगन 30 शिमला मिर्च 30 से 40 रुपए खीर 30 और प्याज 30 रुपए प्रति किलो मिल रही है अगर मौसम का यही हाल रात और यमुना में आई बाढ़ का प्रकोप कुछ दिन और नहीं थमा तो हरी सब्जी के दामों में आने वाले समय में और बढ़ोतरी हो सकती है
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संवाददाता🔹 सुशील कुमार गुप्ता