फिरोजाबाद: दिवाली की दोपहर फिरोजाबाद के स्कूल ऑफ नर्सिंग कॉलेज के बाहर एक प्रेम प्रसंग से जुड़े मामले में चौकीदार के बेटे मानवेंद्र उर्फ मोनू (18) पर गोली चलाने की घटना ने पूरे इलाके में सनसनी फैला दी है। इस वारदात में इस्तेमाल की गई लाइसेंसी रिवॉल्वर भारतीय जनता युवा मोर्चा (भाजयुमो) के जिलाध्यक्ष अंकित तिवारी की पाई गई है। पुलिस ने मुख्य आरोपी सुमित और संजय को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है, जबकि अंकित तिवारी के खिलाफ रिवॉल्वर के दुरुपयोग का मुकदमा दर्ज हो गया है। मोनू की हालत अब खतरे से बाहर बताई जा रही है।
घटना का विवरण
सोमवार देर शाम मोनू अपने पिता सुखवीर को, जो कॉलेज में सिक्योरिटी गार्ड हैं, खाना देने आया था। तभी बाइक सवार दो युवक—सिकहरा निवासी सुमित उर्फ मूला और खेड़ा निवासी संजय—ने मोनू को पीठ के पास से गोली मार दी। गोली लगते ही मोनू गंभीर रूप से घायल हो गया। परिजनों ने उसे तुरंत ट्रॉमा सेंटर ले जाया, जहां से हालत बिगड़ने पर आगरा रेफर कर दिया गया। पिता सुखवीर की तहरीर पर मटसैना थाने में केस दर्ज हुआ।
पुलिस ने सुमित और संजय को जल्द ही गिरफ्तार कर लिया। पूछताछ में सुमित ने कबूल किया कि गोली उसने भाजयुमो जिलाध्यक्ष अंकित तिवारी की लाइसेंसी रिवॉल्वर से मारी थी। अंकित सिक्योरिटी गार्ड उपलब्ध कराने का काम करते हैं, और सुमित के पिता उनके अधीन काम करते हैं। इसी रिश्ते के चलते रिवॉल्वर अक्सर सुमित के पास रहती थी।
बड़ा मोड़: भाजयुमो नेता का कनेक्शन
इस खुलासे ने मामले को नया मोड़ दे दिया है। अंकित तिवारी सरस्वती नगर निवासी हैं और भाजयुमो के जिलाध्यक्ष हैं। पुलिस ने रिवॉल्वर के अनुचित रखरखाव और दुरुपयोग के लिए उन पर मुकदमा दर्ज कर लिया है। सीसीटीवी फुटेज और आरोपी के बयानों को आधार बनाकर यह कार्रवाई की गई।
सीओ सदर चंचल त्यागी ने बताया, “पुलिस निष्पक्षता के साथ साक्ष्यों पर कार्रवाई कर रही है। अंकित तिवारी पर मुख्य आरोपी के बयान, बरामद रिवॉल्वर और सीसीटीवी के आधार पर केस दर्ज हुआ है।”
अंकित तिवारी का विवादित इतिहास
अंकित तिवारी का यह पहला विवाद नहीं है। 21 फरवरी 2025 को दक्षिण थाना क्षेत्र के मुरली नगर में एक जन्मदिन पार्टी में शराब के नशे में धुत होकर उन्होंने हर्ष फायरिंग की थी। इस दौरान गोली सुहाग नगर निवासी मनीष की पत्नी रिया को लगी थी, और दक्षिण थाने में केस दर्ज हुआ। इससे पहले जैन मंदिर के पास भी नशे में फायरिंग कर दहशत फैलाई थी।
दो साल पहले भाजपा की युवा इकाई के एक पदाधिकारी की सिफारिश पर तत्कालीन डीएम ने अंकित को रिवॉल्वर का लाइसेंस जारी किया था। लेकिन लाइसेंस मिलने के बाद यह चौथी घटना जुड़ गई है। पार्टी के वरिष्ठ नेता भी इससे नाराज हैं और अंकित से दूरी बना ली है। मंगलवार शाम तक कई सिफारिशें पहुंचीं, लेकिन पुलिस ने सख्ती बरती।
पुलिस की आगे की कार्रवाई
पुलिस शस्त्र के गलत रखरखाव को अपराध मान रही है। एसएसपी स्तर से जिलाधिकारी को रिपोर्ट भेजने की तैयारी है, जिसमें अंकित के लाइसेंस को निरस्त करने की सिफारिश होगी। प्रेम प्रसंग का मामला भी जांच के दायरे में है।






