लखनऊ। योगी सरकार के मंत्री दिनेश प्रताप सिंह की तबीयत बीते दिनों अचानक बिगड़ गई। उन्हें ब्रेन हैमरेज (मस्तिष्क रक्तस्राव) की समस्या के कारण इलाज के लिए लखनऊ के मेदांता अस्पताल में भर्ती कराया गया। डॉक्टरों ने एमआरआई स्कैन किया, जिसमें ब्रेन हैमरेज की पुष्टि हुई है। जानकारी के अनुसार, उनकी तबीयत में तनाव भी एक प्रमुख कारण रहा।
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, दिनेश प्रताप सिंह पिछले दो दिनों से मानसिक तनाव में चल रहे थे। हाल ही में राहुल गांधी के रायबरेली दौरे के दौरान वे धरने पर बैठे और “राहुल गांधी वापस जाओ” के नारे भी लगाए। इस दौरान उनके और पुलिसकर्मियों के बीच विवाद हुआ था। नाराजगी जताते हुए उन्होंने भाजपा प्रदेश अध्यक्ष भूपेंद्र चौधरी को पत्र लिखकर उत्तर प्रदेश पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठाए थे।
अब मंत्री दिनेश प्रताप सिंह ने अपने स्वास्थ्य को लेकर सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व ट्विटर) पर बड़ा अपडेट साझा किया है। उन्होंने लिखा कि वे पूरी तरह स्वस्थ हैं और सभी को बेवजह की चिंता न करने की सलाह दी। उन्होंने बताया कि उन्हें केवल कुछ दिन शांत वातावरण में उपचार की आवश्यकता थी, जिसे उपमुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक की देखरेख में कराया जा रहा है।
दिनेश प्रताप सिंह ने आगे कहा कि बस कुछ दिन में वे फिर राजनीतिक गतिविधियों में लौटेंगे और बिहार में पार्टी की सरकार बनाने में अपने तन, मन और धन से योगदान देंगे। उन्होंने अपनी पूर्व उपलब्धियों और चुनौतियों का जिक्र करते हुए कहा कि सभी बाधाएं उनके लिए केवल छोटे परीक्षण जैसी हैं और जनता की दुआओं से वे हर मुश्किल पार कर पाए हैं।
कौन हैं दिनेश प्रताप सिंह
दिनेश प्रताप सिंह ने अपने राजनीतिक जीवन की शुरुआत कांग्रेस पार्टी से की थी। वे पहली बार 2010 में और दूसरी बार 2016 में उत्तर प्रदेश विधान परिषद (एमएलसी) के सदस्य बने। वर्ष 2018 में उन्होंने भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) का दामन थामा।
भाजपा में शामिल होने के बाद, दिनेश प्रताप सिंह 2022 में फिर से एमएलसी बने और उन्हें योगी सरकार में बागवानी एवं खाद्य प्रसंस्करण के राज्य मंत्री के पद पर नियुक्त किया गया।
2024 के लोकसभा चुनाव में उन्होंने रायबरेली से कांग्रेस सांसद राहुल गांधी के खिलाफ चुनाव लड़ा, लेकिन लगभग 3,90,000 वोटों के अंतर से चुनाव हार गए।