देशभर से विशेष रिपोर्ट:

सावन का पावन महीना, जो भोलेनाथ की आराधना के लिए समर्पित है, अब अपने अंतिम पड़ाव पर पहुंच चुका है। आज, 4 अगस्त 2025, सावन का आखिरी सोमवार है, जो शिव भक्ति और साधना के दृष्टिकोण से अत्यंत महत्वपूर्ण माना जाता है। देशभर के मंदिरों में आज सुबह से ही हर-हर महादेव के जयकारों की गूंज सुनाई दे रही है। श्रद्धालु जलाभिषेक, व्रत, मंत्रोच्चार और भजन-कीर्तन में लीन हैं।

🔱 विशेष धार्मिक महत्व

सावन का प्रत्येक सोमवार भगवान शिव को समर्पित होता है, लेकिन आखिरी सोमवार का अपना विशेष महत्व होता है। मान्यता है कि इस दिन शिवलिंग पर श्रद्धापूर्वक जल, दूध, बेलपत्र और धतूरा चढ़ाने से समस्त कष्ट दूर होते हैं और विशेष कृपा प्राप्त होती है।

🕉️ आज बन रहे हैं अद्भुत शुभ योग

आज के दिन कई शुभ योगों का संयोग भी बन रहा है, जिससे यह दिन और अधिक फलदायी बन गया है।

🔹 सर्वार्थ सिद्धि योग — हर कार्य में सफलता दिलाने वाला।
🔹 ब्रह्म योग — मानसिक शांति और ज्ञान की प्राप्ति के लिए श्रेष्ठ।
🔹 इंद्र योग — ऐश्वर्य और समृद्धि देने वाला।

इन विशेष योगों में किए गए पूजा-पाठ और संकल्प विशेष फलदायी माने जाते हैं।

पूजन के शुभ मुहूर्त

📿 जलाभिषेक का ब्रह्म मुहूर्त: प्रातः 4:20 से 5:02 तक
📿 अभिजीत मुहूर्त: दोपहर 2:42 से 3:36 तक
📿 अमृत काल: सायं 5:47 से 7:34 तक

इन समयों में शिवलिंग पर जलाभिषेक, मंत्रजप और रुद्राभिषेक विशेष फल प्रदान करते हैं।

📍 भक्तों के लिए क्या करें?

भगवान शिव को प्रसन्न करने के लिए भक्त आज निम्न उपायों को अपना सकते हैं:

🔸 शिव चालीसा या रुद्राष्टकम का पाठ करें।
🔸 शिवलिंग पर गंगाजल, दूध, शहद, बेलपत्र, धतूरा, और चावल अर्पित करें।
🔸 व्रत रखकर ‘ॐ नमः शिवाय’ का जाप करें।
🔸 जरूरतमंदों को भोजन या वस्त्र दान करें।

🌿 आस्था से सराबोर शिवधाम

देश के प्रमुख शिव मंदिरों—काशी विश्वनाथ (वाराणसी), महाकालेश्वर (उज्जैन), केदारनाथ (उत्तराखंड), और ओंकारेश्वर (मध्य प्रदेश) सहित ग्रामीण अंचलों के मंदिरों में भी भक्तों की भारी भीड़ उमड़ रही है। शिवालयों में दर्शन, पूजन और रुद्राभिषेक का विशेष आयोजन हो रहा है।

📌 विशेष सूचना:
समय और मुहूर्तों की पुष्टि अपने स्थानीय पंचांग से अवश्य करें।

📍आचार्य राजकिशोर शर्मा “राजगुरु महाराज”📍

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